हेल्थ इंश्योरेंस लेते समय ध्यान देने वाली बातें
1. 🏥 कवरेज (Coverage)
पॉलिसी में क्या-क्या शामिल है —
जैसे hospitalization, operation, ambulance charges, medicine, और day care treatment (24 घंटे से कम का इलाज)।
कोशिश करें कि कम से कम ₹5–10 लाख का कवरेज हो।
अगर परिवार है तो family floater plan लें।
2. 💸 प्रीमियम (Premium Amount)
हर साल देने वाली रकम (premium) आपकी उम्र और कवरेज पर निर्भर करती है।
बहुत सस्ता प्रीमियम देखने की बजाय, अच्छा कवरेज और claim service वाली पॉलिसी चुनें।
3. ⏱️ वेटिंग पीरियड (Waiting Period)
कुछ बीमारियों (जैसे डायबिटीज, थायरॉइड, आदि) के लिए 2–4 साल का इंतज़ार होता है।
अगर आपको पहले से कोई बीमारी है, तो ये पॉइंट ज़रूर देखें।
4. 🧾 कैशलेस अस्पताल नेटवर्क (Cashless Hospitals)
देखें कि आपके शहर या इलाके के कौन-कौन से अस्पताल उस इंश्योरेंस कंपनी के नेटवर्क में हैं।
कैशलेस सुविधा में आपको हॉस्पिटल में पैसे नहीं देने पड़ते, सीधे इंश्योरेंस कंपनी पेमेंट करती है।
5. 👨👩👧 Family Floater vs Individual Policy
Individual policy: हर व्यक्ति की अलग बीमा राशि।
Family floater: पूरी फैमिली के लिए एक कुल बीमा राशि (सस्ता और सुविधाजनक)।
6. 💬 क्लेम प्रक्रिया (Claim Process)
जानिए कि क्लेम (दावा) कैसे और कितने समय में होता है।
अच्छी कंपनी 7–10 दिन में क्लेम निपटाती है।
7. 📅 Renewability (नवीनीकरण)
हमेशा लाइफटाइम रिन्यूअल वाली पॉलिसी लें।
कुछ सस्ती पॉलिसी उम्र के साथ बंद हो जाती हैं — ऐसे प्लान से बचें।
8. 🩹 नो-क्लेम बोनस (NCB)
अगर एक साल में आप कोई क्लेम नहीं करते, तो अगली बार आपका कवरेज बढ़ जाता है (बिना प्रीमियम बढ़े)।
ये एक अच्छा फायदा होता है।
9. 🧾 Exclusions (क्या शामिल नहीं है)
हर पॉलिसी में कुछ चीज़ें कवरेज से बाहर होती हैं —
जैसे cosmetic surgery, dental treatment, या pregnancy-related खर्च (कुछ पॉलिसी में बाद में शामिल होता है)।
इन्हें ज़रूर पढ़ें।
10. 🏦 कंपनी की साख (Reputation & Claim Ratio)
ऐसी कंपनी चुनें जिसका Claim Settlement Ratio 90% या उससे अधिक हो।
मतलब ज्यादातर क्लेम्स वो कंपनी वास्तव में देती है।
0 Comments